0 सुप्रीम कोर्ट बोला- 30 साल में ऐसी लापरवाही नहीं देखी
0 पुलिस की भूमिका पर भी संदेह
कोलकाता/नई दिल्ली। कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में 9 अगस्त को हुए ट्रेनी डॉक्टर के रेप-मर्डर केस में गुरुवार (22 अगस्त) को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई। जिसके बाद एम्स के डॉक्टरों ने 11 दिन से चल रही हड़ताल खत्म कर दी है।
इससे पहले सीजेआई ने कहा था कि डॉक्टर काम पर लौट आएं। अस्पतालों की स्थिति जानता हूं। मैं खुद एक सरकारी अस्पताल के फर्श पर सोया हूं, जब मेरे परिवार का एक सदस्य बीमार था। वापस आने के बाद आप पर कोई एक्शन नहीं लिया जाएगा
सीजेआई ने कहा कि हमें बताया गया कि डॉक्टर काम पर वापस जाने के लिए तैयार हैं। राज्य सरकारें डॉक्टरों के लिए कुछ सुरक्षा इंतजाम कर सकती हैं। हम केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय निर्देश देते हैं कि वे राज्य के मुख्य सचिवों और डीजीपी के साथ मिलकर सुरक्षा सुनिश्चित करें। यह एक्सरसाइज 1 हफ्ते में पूरी हो जानी चाहिए। राज्य 2 हफ्ते के अंदर इसे लागू करें।
सुनवाई के दौरान सीबीआई ने कोर्ट में कहा कि क्राइम सीन से छेड़छाड़ हुई है। जस्टिस जेबी पारदीवाला ने कहा- कोलकाता पुलिस की भूमिका पर संदेह है। जांच में ऐसी लापरवाही अपने 30 साल के करियर में नहीं देखी। मामले में अगली सुनवाई 5 सितंबर को होगी।
एसजी ने सिब्बल से कहा- लड़की की जान चली गई, हंसिए तो मत
एसजी कोर्ट में सीबीआई की स्टेटस रिपोर्ट पर अपनी बात रख रहे थे। इस दौरान उन्होंने सिब्बल को हंसते हुए देखा तो एसजी ने कहा- एक लड़की की जान चली गई है। कम से कम हंसिए तो मत।
मेडिकल कॉलेज की नई प्रिंसिपल का भी ट्रांसफर
पश्चिम बंगाल सरकार ने 21 अगस्त को देर रात आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल की नई प्रिंसिपल डॉ. सुरहिता पाल, मेडिकल सुपरिनटैंडैंट डॉ. बुलबुल मुखोपाध्याय और चेस्ट डिपार्टमेंट की एचओडी अरुनभा दत्ता का तबादला कर दिया गया। रेप-मर्डर केस को लेकर बीते 11 दिन से विरोध प्रदर्शन कर रहे डॉक्टरों ने इन सभी अधिकारियों को हटाने की मांग की थी। डॉ. सुरहिता पाल की जगह मानस कुमार बंद्योपाध्याय को नया प्रिंसिपल नियुक्त किया गया है। राज्य सरकार ने पूर्व प्रिंसिपल डॉ. संदीप घोष के कलकत्ता नेशनल मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में तबादले के आदेश को भी रद्द कर दिया है। इधर, मेडिकल कॉलेज के पूर्व उपाधीक्षक अख्तर अली ने कलकत्ता हाईकोर्ट से पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष के खिलाफ ईडी जांच की मांग की है। उनका आरोप है कि घोष के कार्यकाल में कई वित्तीय गड़बड़ी हुईं।
अस्पताल सीआईएसएफ के हवाले, 4 पुलिस अफसर सस्पेंड
कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में सुरक्षा पर सुप्रीम कोर्ट में सवाल उठाए जाने के बाद बुधवार (21 अगस्त) को बंगाल सरकार हरकत में आई। अस्पताल में तोड़फोड़ मामले में बंगाल सरकार ने 2 असिस्टेंट कमिश्नर और 2 इंस्पेक्टर को निलंबित कर दिया गया। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद केंद्रीय गृह मंत्रालय ने पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव को कॉलेज में सीआईएसएफ तैनात करने के निर्देश दिए। इसके बाद बुधवार शाम को 150 जवान तैनात किए गए हैं। फोर्स ने रेजीडेंट डॉक्टरों के होस्टल और अन्य जगह भी मोर्चा संभाल लिया है।
21 अगस्त को पीड़ित परिवार से मिलकर राज्यपाल भावुक हुए
पश्चिम बंगाल के राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने 21 अगस्त को ट्रेनी डॉक्टर के माता-पिता से मुलाकात की। पीड़ित परिवार को देखकर वे भी भावुक हो गए। बोस ने कहा कि मैंने माता-पिता दोनों की बात सुनी है। मैं बंद लिफाफे में मुख्यमंत्री को पत्र लिखूंगा। उन्होंने मुझे कुछ बातें बताई हैं, जो अभी गोपनीय हैं।
कलकत्ता हाईकोर्ट में 4 सितंबर को सुनवाई
रेप-मर्डर केस में 21 अगस्त को कलकत्ता हाईकोर्ट में सुनवाई हुई। याचिकाकर्ता के वकील ने कहा कि राज्य सरकार ने पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष की जांच के लिए SIT बनाई है। यह उन्हें बचाने के लिए एक दिखावा है। हालांकि, कोर्ट ने कहा, ‘हम इस मामले को अब 4 सितंबर को सुनेंगे। उधर बंगाल सरकार ने मामले से जुड़ी रिपोर्ट कोर्ट में पेश करने की बात कही। इस पर हाईकोर्ट चीफ जस्टिस टीएस शिवगनम ने कहा, मामला अब सुप्रीम कोर्ट में है। रिपोर्ट अपने पास रखिए इसे सुप्रीम कोर्ट में दिखाइए। हाईकोर्ट में पिछली सुनवाई 16 अगस्त को हुई थी। तब चीफ जस्टिस टीएस शिवगनम ने राज्य सरकार और पुलिस को फटकार लगाते हुए कहा था कि अस्पताल में तोड़फोड़ के लिए 7 हजार की भीड़ आई थी। पुलिस क्या कर रही थी? पुलिस खुद को नहीं बचा पा रही, तो डॉक्टर निडर होकर कैसे काम करेंगे।
आरोपी ने डॉक्टर का बुरी तरह शोषण किया
अस्पताल में ट्रेनी डॉक्टर के रेप-मर्डर मामले नई जानकारी सामने आई। पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट से खुलासा हुआ है कि गला घोंटकर पीड़ित की हत्या की गई थी। पुलिस ने ट्रेनी डॉक्टर के परिवार को 12 अगस्त को पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट सौंपी थी, जिसमें बताया गया कि 8-9 अगस्त की रात रेप और मारपीट के बाद ट्रेनी डॉक्टर की गला और मुंह दबाकर हत्या हुई थी। घटना 9 अगस्त की सुबह 3 से 5 बजे के बीच होने का अनुमान है। चार पेज की पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में बताया गया कि आरोपी ने डॉक्टर का बुरी तरह शोषण किया था।